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शामली में भीषण सड़क हादसा, कैंटर में जा घुसी कार चार चचेरे भाइयों की मौत

शामली में भीषण सड़क हादसा, कैंटर में जा घुसी कार चार चचेरे भाइयों की मौत

शामली में पानीपत-खटीमा हाईवे पर भीषण सड़क हादसे में सोनीपत के चार चचेरे भाइयों की मौत हो गई, वे शादी से पहले गंगा स्नान जा रहे थे।

शामली जिले में शुक्रवार देर रात हुए सड़क हादसे में चार चचेरे भाइयों की मौके पर ही मौत हो गई। यह हादसा उस वक्त हुआ जब चारों युवक अपने रिश्तेदार की शादी से पहले हरिद्वार गंगा स्नान के लिए जा रहे थे। बुटराड़ा गांव के पास उनकी स्विफ्ट कार बेकाबू होकर सड़क किनारे खड़े कैंटर में जा घुसी। टक्कर इतनी तेज थी कि कार के परखच्चे उड़ गए और चारों युवक कार में ही फंस गए। पुलिस ने गैस कटर की मदद से कार काटकर शवों को बाहर निकाला।

यह घटना शुक्रवार रात करीब एक बजे पानीपत-खटीमा हाईवे पर बुटराड़ा फ्लाईओवर के पास हुई। मृतकों की पहचान हरियाणा के सोनीपत जिले के बरोदा गांव निवासी साहिल (22), विवेक (23), आशीष (24) और परमजीत (24) के रूप में हुई है। चारों चचेरे भाई थे और अपने-अपने घरों के इकलौते चिराग थे। परमजीत की शादी शनिवार को होने वाली थी, जबकि आशीष की शादी अगले साल फरवरी में तय थी। साहिल की शादी पिछले साल हुई थी। परिवार में इस हादसे की खबर पहुंचते ही कोहराम मच गया।

हादसे के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने बताया कि टक्कर इतनी भीषण थी कि कार की छत पूरी तरह से उड़ गई और उसके टुकड़े करीब सौ मीटर तक सड़क पर बिखर गए। कार चला रहे युवक के सीने में स्टीयरिंग धंस गई थी। सभी के शरीर बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गए थे। पुलिस ने काफी मशक्कत के बाद कार को काटकर शवों को बाहर निकाला। हादसे के बाद कैंटर चालक मौके से फरार हो गया, जिसे पुलिस ने कब्जे में ले लिया है। आसपास CCTV कैमरे नहीं लगे थे, जिससे हादसे का सीधा फुटेज नहीं मिला।

पुलिस जांच में कार के अंदर से शराब की बोतलें भी बरामद की गईं। एएसपी संतोष सिंह ने बताया कि प्रारंभिक जांच में आशंका जताई जा रही है कि कार सवार युवक नशे में थे, जिससे वाहन पर नियंत्रण खो दिया गया। हादसे के बाद कैंटर का केबिन भी पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया और पिछले पहिए अलग हो गए। बताया जा रहा है कि परमजीत की शादी की रस्में शनिवार सुबह शुरू होने वाली थीं और चारों युवक उससे पहले हरिद्वार में गंगा स्नान करने की योजना बनाकर निकले थे। दुर्भाग्य से रास्ते में यह सफर उनकी जिंदगी का आखिरी सफर बन गया।

ग्रामीणों के अनुसार, चारों युवक आपस में बेहद करीब थे। तीन के पिता पहले ही इस दुनिया से जा चुके थे और परिवार की जिम्मेदारी इन्हीं के कंधों पर थी। आशीष खेती-बाड़ी करता था, साहिल गोहाना के डाक विभाग में नौकरी करता था और विवेक घर की खेती संभाल रहा था। हादसे की सूचना मिलते ही पूरा बरोदा गांव मातम में डूब गया। शनिवार को पोस्टमॉर्टम के बाद शव गांव लाए जाएंगे, जहां अंतिम संस्कार किया जाएगा।

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