Wed, 29 Oct 2025 11:35:41 - By : Palak Yadav
वाराणसी के किसानों के लिए एक बड़ी राहत की खबर आई है। रबी सीजन की तैयारी में जुटे किसानों के लिए अब गेहूं का बीज राजकीय कृषि बीज गोदामों पर उपलब्ध हो गया है। सरकार ने इस वर्ष 15 नवंबर तक गेहूं की बुवाई का लक्ष्य निर्धारित किया है, जिससे किसानों को समय पर बीज मिलने से वे तय समय पर खेती शुरू कर सकेंगे और बेहतर उत्पादन प्राप्त कर सकेंगे। इससे न केवल उनकी आय में वृद्धि होगी बल्कि रबी अभियान को भी मजबूती मिलेगी।
कृषि विभाग के अनुसार, इस वर्ष जिले के सभी आठ राजकीय कृषि बीज गोदामों से अनुदान पर सरसों, चना, मटर और गेहूं का बीज उपलब्ध कराया जा रहा है। साथ ही अधिक से अधिक किसानों तक उच्च गुणवत्ता वाले बीज की पहुंच सुनिश्चित करने के लिए इस बार तीन अतिरिक्त केंद्रों से भी बीज वितरण की व्यवस्था की गई है। इनमें उत्तर प्रदेश बीज विकास निगम, चांदपुर चौराहा (कलेक्ट्रीफार्म), राष्ट्रीय बीज निगम, रामनगर (इंडस्ट्रीयल एरिया) और राष्ट्रीय बीज निगम, कैलगढ़ मार्केट जगतगंज (निकट साहू ब्रदर्स) शामिल हैं।
जिला कृषि अधिकारी संगम सिंह ने जानकारी देते हुए कहा कि वर्तमान समय सरसों, चना और मटर की बुवाई के लिए सबसे उपयुक्त है। उन्होंने किसानों से अपील की कि वे किसी भी प्रकार की देरी न करें और अपने विकास खंड के राजकीय बीज गोदाम या अन्य अधिकृत केंद्रों से अनुदान पर बीज प्राप्त कर समय पर बुवाई सुनिश्चित करें। उन्होंने चेतावनी दी कि विलंब से बुवाई करने पर सरसों की फसल में कीट, रोग और पाले का प्रकोप बढ़ जाता है जिससे उत्पादन पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। इसी प्रकार, देर से बुवाई करने पर चना और मटर की उपज में भी कमी आ सकती है।
संगम सिंह ने बताया कि गेहूं का बीज भी सभी केंद्रों पर अनुदान पर उपलब्ध है। उन्होंने कहा कि जिन किसानों को गेहूं की बुवाई करनी है वे 15 नवंबर तक बुवाई का कार्य पूरा कर लें क्योंकि देरी होने पर बढ़ते तापमान के कारण दाने पतले रह जाते हैं जिससे उत्पादन में गिरावट आती है। समय पर बुवाई करने से न केवल उत्पादन बढ़ता है बल्कि दानों की गुणवत्ता भी अच्छी रहती है।
सरसों की खेती करने वाले किसानों को विभाग ने सुझाव दिया है कि वे एनपीएस उर्वरक का उपयोग करें जिसमें नाइट्रोजन, फास्फोरस और सल्फर तत्व पाए जाते हैं। यह उर्वरक सरसों की फसल के उत्पादन और तेल की मात्रा दोनों को बढ़ाता है। विभाग ने बताया कि एनपीएस उर्वरक जिले की सभी सहकारी समितियों और निजी केंद्रों पर पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है। किसान भाई पास मशीन में अंगूठा लगाकर अपनी सुविधा अनुसार किसी भी केंद्र से उर्वरक प्राप्त कर सकते हैं।
कृषि विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि जिले में यूरिया और डीएपी की पर्याप्त मात्रा मौजूद है, जिससे किसी भी क्षेत्र में उर्वरक की कमी नहीं होगी। विभाग का कहना है कि समय पर बीज और उर्वरक की उपलब्धता सुनिश्चित कर इस बार जिले में रबी सीजन की फसल का उत्पादन पिछली बार की तुलना में अधिक होने की उम्मीद है।