वाराणसी: चाइनीज मांझे से बिजली सुपरवाइजर का गला कटा, स्थानीय लोगों ने बचाई जान

वाराणसी के रामनगर में चाइनीज मांझे की चपेट में आने से बिजली विभाग के सुपरवाइजर का गला कटा, प्रतिबंध की मांग.

Fri, 07 Nov 2025 10:56:57 - By : Garima Mishra

वाराणसी: सर्दी के मौसम के साथ एक बार फिर चाइनीज मांझे का कहर देखने को मिला है। रामनगर क्षेत्र में गुरुवार की शाम एक दर्दनाक हादसा उस समय हुआ जब बिजली विभाग के सुपरवाइजर दीपक गोस्वामी की गर्दन चाइनीज मांझे की चपेट में आ गई। हादसे में उनका गला बुरी तरह कट गया, हालांकि स्थानीय लोगों की तत्परता से उनकी जान बचाई जा सकी। इस घटना ने इलाके में आक्रोश और चिंता दोनों पैदा कर दी है, लोग अब चाइनीज मांझे पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाने की मांग कर रहे हैं।

जानकारी के अनुसार दीपक गोस्वामी, जो अयोध्या जिले के निवासी हैं, फिलहाल बिजली विभाग के कछवा कार्यालय में सुपरवाइजर के पद पर कार्यरत हैं। गुरुवार को वे किसी कार्य से चंदौली गए हुए थे और शाम करीब चार बजे लौटते समय यह हादसा हुआ। जब वे रामनगर बाईपास पुल के समीप टेंगरा मोड़ पर पहुंचे, तभी अचानक एक चाइनीज मांझा उनके गले से जा टकराया। उन्होंने अपनी बाइक रोकने की कोशिश की लेकिन तब तक उनके गले में लगभग आठ सेंटीमीटर गहरा घाव बन चुका था।

गंभीर रूप से घायल दीपक वहीं सड़क किनारे गिर पड़े। आसपास के लोगों ने तत्परता दिखाते हुए उन्हें तुरंत पी एन कॉलेज के पास स्थित संभव ई एन टी अस्पताल पहुंचाया। वहां मौजूद डॉक्टर अंकित सिंघला ने उनकी हालत को देखते हुए तुरंत उपचार शुरू किया। डॉक्टरों ने बताया कि दीपक के गले में गहरा कट था, जिसे सिलने के लिए आठ टांके लगाने पड़े। समय रहते उपचार मिलने के कारण उनकी जान बच सकी।

घटना की सूचना मिलते ही दीपक के परिजन अयोध्या से वाराणसी के लिए रवाना हो गए। वहीं स्थानीय लोगों ने प्रशासन से मांग की है कि चाइनीज मांझे की बिक्री और उपयोग पर सख्ती से प्रतिबंध लगाया जाए। उनका कहना है कि इस तरह के मांझे न केवल पक्षियों और जानवरों के लिए बल्कि इंसानों के लिए भी जानलेवा साबित हो रहे हैं।

स्थानीय प्रशासन ने बताया कि घटना की जानकारी मिलने के बाद संबंधित टीम को जांच के लिए भेजा गया है। अधिकारी जल्द ही मांझा बेचने वालों पर कार्रवाई की बात कर रहे हैं। गौरतलब है कि पिछले कुछ वर्षों में चाइनीज मांझे से वाराणसी समेत कई शहरों में गंभीर हादसे हो चुके हैं। इसके बावजूद बाजारों में खुलेआम यह मांझा बिकना प्रशासन की निष्क्रियता को दर्शाता है।

इस हादसे ने एक बार फिर यह सवाल खड़ा कर दिया है कि आखिर कितनी और जानें जाने के बाद इस खतरनाक मांझे पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। लोगों का कहना है कि प्रशासन को अब इस पर तुरंत और ठोस कदम उठाने होंगे ताकि भविष्य में किसी निर्दोष की जान इस तरह की लापरवाही के कारण न जाए।

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