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एसटीएफ वाराणसी की बड़ी कार्रवाई, गया से 684 किलो गांजा के साथ तीन तस्कर गिरफ्तार

एसटीएफ वाराणसी की बड़ी कार्रवाई, गया से 684 किलो गांजा के साथ तीन तस्कर गिरफ्तार

एसटीएफ वाराणसी ने बिहार के गया से अंतरराज्यीय गांजा तस्करी गिरोह के तीन सदस्य गिरफ्तार किए, 684 किलो गांजा बरामद हुआ।

वाराणसी: उत्तर प्रदेश एसटीएफ की वाराणसी इकाई ने बुधवार को एक बड़ी कार्रवाई को अंजाम देते हुए अंतरराज्यीय स्तर पर सक्रिय अवैध मादक पदार्थ तस्करी गिरोह के तीन शातिर सदस्यों को गिरफ्तार किया है। यह कार्रवाई बिहार के गया जिले में की गई, जहां से एसटीएफ टीम ने 684 किलोग्राम गांजा बरामद किया। बरामद किए गए मादक पदार्थ की अंतरराष्ट्रीय बाजार में कीमत लगभग 1.71 करोड़ रुपये बताई जा रही है। इस ऑपरेशन के दौरान पुलिस ने तस्करों के कब्जे से एक ट्रक और एक कार भी जब्त की है, जिनका उपयोग गांजा की तस्करी में किया जा रहा था।

वाराणसी एसटीएफ इकाई के निरीक्षक अनिल कुमार सिंह ने बताया कि गिरफ्तार किए गए तस्करों में विकास यादव (निवासी रामगढ़, महराजगंज, चंदौली), संजीव तिवारी (निवासी सुभाष नगर, डेहरी, रोहतास, बिहार) और धीरज कुमार (निवासी न्यू एरिया, डेहरी आनसोन, बिहार) शामिल हैं। इन सभी पर आरोप है कि ये उड़ीसा और आंध्र प्रदेश से बड़े पैमाने पर गांजा की खेप लाकर उत्तर प्रदेश और बिहार के विभिन्न जिलों में सप्लाई करते थे।

एसटीएफ को पिछले कुछ दिनों से लगातार यह सूचना मिल रही थी कि कुछ अंतरराज्यीय गिरोह उड़ीसा और आंध्र प्रदेश जैसे राज्यों से अवैध मादक पदार्थों की तस्करी कर रहे हैं। इस पर एसटीएफ के वरिष्ठ अधिकारियों ने विभिन्न इकाइयों को सतर्क करते हुए अभिसूचना संकलन और कार्रवाई के लिए निर्देश दिए थे। इसी दौरान मुखबिर से सूचना मिली कि उड़ीसा के संभलपुर बौध क्षेत्र से अवैध गांजा की एक बड़ी खेप ट्रक में लादकर बिहार के डेहरी आनसोन ले जाई जा रही है।

सूचना की पुष्टि के बाद एसटीएफ वाराणसी ने बिहार एसटीएफ के साथ समन्वय स्थापित किया और क्षेत्राधिकारी बाराचट्टी (गया, बिहार) व स्थानीय पुलिस के सहयोग से संयुक्त अभियान चलाया। टीम ने वन विभाग कार्यालय के सामने जीटी रोड, थाना बाराचट्टी (गया, बिहार) के पास घेराबंदी कर ट्रक और कार को रोका। तलाशी के दौरान नमक की बोरियों के बीच छिपाकर रखा गया 684 किलो गांजा बरामद हुआ। मौके से तीनों तस्करों को गिरफ्तार कर लिया गया।

पूछताछ में आरोपी धीरज कुमार ने खुलासा किया कि वह इस संगठित गिरोह का सरगना है और उसका सहयोगी संजीव तिवारी इस तस्करी में उसका पार्टनर है। दोनों मिलकर उड़ीसा के संभलपुर बौध क्षेत्र से गांजा खरीदते थे, जिसे सरोज और अशोक नामक व्यक्तियों द्वारा ट्रक में नमक की बोरियों के बीच छिपाकर लोड किया जाता था। यह खेप बलराम पांडेय नामक तस्कर को डेहरी आनसोन, जिला रोहतास (बिहार) में पहुंचाई जानी थी।

पुलिस के अनुसार, बलराम पांडेय बिहार के अलावा उत्तर प्रदेश के सीमावर्ती जिलों चंदौली, वाराणसी और गाजीपुर में भी गांजा की सप्लाई नेटवर्क संचालित करता है। गिरफ्तार आरोपियों ने बताया कि वे हर बार तस्करी के दौरान ट्रक के आगे अपनी क्रेटा कार से पायलटिंग करते थे ताकि किसी भी चेकिंग प्वाइंट या पुलिस की कार्रवाई की सूचना पहले ही मिल सके और वे समय रहते बच निकलें।

एसटीएफ के अधिकारियों ने बताया कि फिलहाल सभी आरोपियों से पूछताछ जारी है और गिरोह के अन्य सदस्यों की पहचान की जा रही है। इस अंतरराज्यीय नेटवर्क के कई और तार उड़ीसा, बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश तक फैले होने की आशंका जताई जा रही है।

एसटीएफ की इस कार्रवाई को मादक पदार्थों की तस्करी के खिलाफ बड़ी सफलता माना जा रहा है। अधिकारियों ने कहा कि भविष्य में इस तरह के गिरोहों पर निगरानी और कड़ी कार्रवाई की जाएगी ताकि राज्य में नशे के अवैध कारोबार को पूरी तरह समाप्त किया जा सके।

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