Mon, 08 Sep 2025 22:38:15 - By : SANDEEP KR SRIVASTAVA
आगरा: आज सोमवार देर शाम शहर में उस समय अफरा-तफरी मच गई जब बल्केश्वर स्थित यमुना किनारे महालक्ष्मी मंदिर की एक दीवार अचानक ढह गई। हादसे के समय मंदिर परिसर में पूजा-अर्चना चल रही थी और बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद थे। दीवार गिरने की आवाज के साथ ही मौके पर भगदड़ जैसी स्थिति बन गई। कई लोग खुद को बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे। प्रारंभिक सूचना में कुछ लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका जताई गई थी, जिसके बाद प्रशासन तुरंत सक्रिय हो गया।
सूचना मिलते ही पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों की टीमें भारी फोर्स के साथ घटनास्थल पर पहुंच गईं। इलाके को तत्काल सुरक्षा कारणों से सील कर दिया गया और किसी को भी वहां जाने की अनुमति नहीं दी गई। एहतियात के तौर पर पुलिस के गोताखोरों को बुलाकर तलाशी अभियान शुरू कराया गया। नदी के किनारे की मिट्टी और संरचना पहले से कमजोर होने के कारण यह हादसा बड़ा रूप ले सकता था। अधिकारियों ने मौके पर रहकर स्थिति का जायजा लिया और राहत-बचाव कार्य का निरीक्षण किया।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि हादसा बेहद अचानक हुआ। श्रद्धालु पूजा में व्यस्त थे कि तभी मंदिर की दीवार का एक हिस्सा भर-भराकर गिर पड़ा। आसपास खड़े लोग घबराकर बाहर की ओर भागे। स्थानीय लोगों ने तुरंत पुलिस और प्रशासन को सूचना दी, जिसके बाद भारी संख्या में सुरक्षाकर्मी मौके पर पहुंचे।
जिलाधिकारी अरविंद मलप्पा बंगारी ने देर रात जानकारी दी कि प्रारंभिक आशंकाओं के विपरीत कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ है। जिन लोगों के लापता होने की सूचना आई थी, वे सभी सुरक्षित अपने घरों में पाए गए हैं। उन्हें केवल हल्की चोटें आई हैं। इसके बावजूद एहतियातन तलाशी अभियान जारी रखा गया है ताकि किसी भी संभावित जोखिम को टाला जा सके।
उन्होंने लोगों से अपील की कि यमुना का जलस्तर इन दिनों बढ़ा हुआ है और नदी किनारे के कई इलाके जलमग्न हो चुके हैं। ऐसे में सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए किसी को भी नदी के नजदीक नहीं जाना चाहिए। प्रशासन ने भी आसपास के क्षेत्रों में अतिरिक्त सतर्कता बरतने और लोगों को सुरक्षित दूरी बनाए रखने की सलाह दी है।
यह हादसा आगरा में यमुना किनारे स्थित धार्मिक स्थलों की सुरक्षा पर भी सवाल खड़ा करता है। स्थानीय लोगों का कहना है कि नदी के लगातार उफान और कटान से किनारे की संरचनाएं कमजोर हो चुकी हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि यदि समय रहते इस ओर ध्यान नहीं दिया गया तो भविष्य में और भी गंभीर घटनाएं हो सकती हैं।
फिलहाल राहत की बात यह है कि बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं की मौजूदगी के बावजूद किसी की जान नहीं गई। जिला प्रशासन ने मंदिर परिसर और आसपास की दीवारों की मजबूती की जांच कराने के आदेश दिए हैं, ताकि श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।