लखनऊ: तीन अलग-अलग मामलों में 62 लाख की ऑनलाइन ठगी, पुलिस जांच में जुटी

लखनऊ में साइबर अपराधियों ने सेबी कंपनी, टेलीग्राम मार्केटिंग और विदेशी गिफ्ट के नाम पर लोगों से 62.50 लाख रुपये ठगे, तीन मामले दर्ज।

Sat, 01 Nov 2025 14:59:09 - By : Tanishka upadhyay

लखनऊ: साइबर अपराधियों ने एक बार फिर हाई-टेक तरीके से लोगों को निशाना बनाया है। तीन अलग-अलग मामलों में ठगों ने 62 लाख 50 हजार रुपये की ठगी कर ली। इन मामलों में ठगों ने सेबी रजिस्टर्ड कंपनी बताकर निवेश करवाया, टेलीग्राम एप के जरिए मार्केटिंग स्कीम का झांसा दिया और एक युवती को विदेश से गिफ्ट भेजने के नाम पर ठगा। पुलिस ने सभी मामलों में एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

पहला मामला इंदिरानगर के पटेल नगर निवासी आशुतोष कुमार शर्मा का है। उन्होंने बताया कि एक अज्ञात व्यक्ति ने उनसे संपर्क किया और उन्हें केडिया कैपिटल ग्रुप नामक कंपनी से जोड़ा। कंपनी के प्रतिनिधियों ने खुद को सेबी रजिस्टर्ड बताकर भरोसा दिलाया और ब्लॉक डील ट्रेडिंग स्कीम में निवेश करने के लिए प्रेरित किया। मोटे मुनाफे के लालच में आशुतोष ने करीब 48 लाख रुपये निवेश कर दिए। इसके बाद जब उन्होंने पैसा निकालने की कोशिश की तो ठगों ने संपर्क तोड़ दिया और उनके सभी नंबर बंद हो गए। जब बार-बार संपर्क करने पर भी कोई जवाब नहीं मिला, तो उन्हें ठगी का एहसास हुआ और उन्होंने साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई।

दूसरा मामला आलमबाग निवासी भरत बजाज का है। उन्होंने बताया कि उन्हें टेलीग्राम एप पर एक मार्केटिंग ग्रुप में जोड़ा गया था। शुरुआत में छोटे निवेश पर लाभ मिलने लगा, जिससे उन्होंने भरोसा कर लिया। धीरे-धीरे ठगों ने उन्हें बड़ी रकम निवेश करने के लिए उकसाया। 5 से 7 अक्टूबर के बीच उन्होंने अलग-अलग स्कीमों में कुल 11 लाख 76 हजार रुपये जमा कराए। जब उन्होंने रकम निकालने की कोशिश की, तो उनसे 8.84 लाख रुपये अतिरिक्त की मांग की गई। इसके बाद उन्हें ठगी का संदेह हुआ और उन्होंने बैंक के साथ साइबर थाने में भी शिकायत दर्ज कराई। साइबर इंस्पेक्टर बृजेश यादव के अनुसार दोनों मामलों में ट्रांजैक्शन चेन की जांच की जा रही है।

तीसरा मामला आलमबाग के अर्जुन नगर निवासी नेहा वासवानी का है। उन्होंने बताया कि 27 अक्टूबर को उन्हें व्हाट्सएप कॉल आया, जिसमें कॉलर ने खुद को उनका चचेरा भाई बताया जो फिनलैंड में रहता है। उसने कहा कि उसने अमेरिका से एक पार्सल भेजा है जिसमें बेटियों के लिए गहने और कुछ विदेशी मुद्रा है। इसके बाद एक महिला ने खुद को महाराष्ट्र इंटरनेशनल एयर कारगो लॉजिस्टिक सेंटर का कर्मचारी बताया और पार्सल छुड़वाने के नाम पर चार्ज, कस्टम ड्यूटी और एन्टी मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के शुल्क के बहाने चार बैंक खातों में कुल 2 लाख 47 हजार रुपये ट्रांसफर कराए। इसके बाद कॉलर और महिला दोनों के नंबर बंद हो गए। इंस्पेक्टर आलमबाग सुभाष चंद्रा ने बताया कि मामले में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।

तीनों मामलों से यह स्पष्ट है कि साइबर अपराधी लगातार नए-नए तरीकों से लोगों को ठग रहे हैं। कभी ऑनलाइन निवेश का झांसा देकर, तो कभी विदेश से पार्सल या गिफ्ट भेजने के बहाने लोगों से बड़ी रकम हड़प ली जाती है। पुलिस ने नागरिकों से अपील की है कि किसी भी अज्ञात व्यक्ति या कंपनी से निवेश या पैसे के लेन-देन से पहले पूरी जांच कर लें और किसी भी संदिग्ध कॉल या मैसेज की सूचना तुरंत साइबर हेल्पलाइन 1930 पर दें।

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