Thu, 04 Dec 2025 12:29:38 - By : Tanishka upadhyay
कानपुर में यूपी 112 में तैनात कॉन्स्टेबल मान महेंद्र की आत्महत्या ने पूरे पुलिस विभाग को झकझोर दिया है। दो दिसंबर की सुबह कल्याणपुर इलाके में किराए के मकान में उनका शव फंदे से लटका मिला था। शुरू में माना जा रहा था कि आर्थिक कर्ज की वजह से उन्होंने यह कदम उठाया होगा, लेकिन बाद में सामने आए सुसाइड नोट और परिवार के बयानों ने मामले को पूरी तरह बदल दिया।
घटना के कुछ घंटों बाद ही उनकी पत्नी कविता ने कहा था कि पति ने कई लोगों से लाखों रुपये उधार लिए थे और कर्ज का दबाव बढ़ने से वह टूट चुके थे। लेकिन 12 घंटे बाद ही कॉन्स्टेबल के छोटे भाई देवकी नंदन ने पुलिस को एक सुसाइड नोट सौंपा, जिसमें महेंद्र ने किसी कर्ज का उल्लेख नहीं किया था। इसके बजाय उन्होंने लगातार चले आ रहे पारिवारिक तनाव, खासकर पत्नी और ससुराल पक्ष से हुए झगड़ों को कारण बताया।
सुसाइड नोट में महेंद्र ने लिखा था कि कुछ तो कमी रही होगी जो वह दुनिया छोड़कर जा रहे हैं। उन्होंने अपनी पत्नी को दूसरी शादी करने की सलाह दी और बच्चों की जिम्मेदारी अपने भाई को सौंपी। नोट में यह भी लिखा था कि कई महीनों से वह तनाव में थे और नींद तक उन्हें नहीं आती थी।
देवकी नंदन के अनुसार महेंद्र को ससुराल की ओर से धमकियां मिल रही थीं। उन्होंने बताया कि ससुराल पक्ष से पैसे को लेकर विवाद हुआ था और शादी समारोह में मनमुटाव के कारण महेंद्र शामिल नहीं हुए थे। उनके अनुसार एक दिन पहले पत्नी को मायके वाले जबरन ले गए थे, जिसके बाद से महेंद्र और अधिक तनाव में आ गए थे। वह पहले भी दो बार आत्महत्या का प्रयास कर चुके थे, लेकिन वक्त पर परिवार ने बचा लिया था।
महेंद्र के परिजनों ने यह भी आरोप लगाया है कि पत्नी कविता का व्यवहार भी अक्सर आक्रामक रहता था और झगड़े बढ़ जाते थे। मामले के सामने आने के बाद भी कविता पोस्टमॉर्टम हाउस न जाकर सीधे कमिश्नर ऑफिस पहुंची, जहां उसने नौकरी पाने के लिए आवेदन किया, जिसने परिजनों के संदेह को और गहरा किया।
पुलिस जांच में यह स्पष्ट हुआ है कि महेंद्र की मौत फांसी के कारण हुई है और इसमें किसी तरह की हत्या का संकेत नहीं मिला। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में भी हैंगिंग की पुष्टि हुई है। पुलिस अब पत्नी और ससुराल पक्ष के नए सिरे से बयान दर्ज करने की तैयारी कर रही है और यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि महेंद्र आखिरी दिनों में किस मानसिक स्थिति से गुजर रहे थे।
मृतक की नौकरी और परिवारिक पृष्ठभूमि देखने पर पता चलता है कि वह 2018 में पुलिस विभाग में भर्ती हुए थे और किदवई नगर थाने में पीआरवी 1246 में तैनात थे। उनका परिवार मथुरा का रहने वाला है। करीबी दोस्तों के अनुसार महेंद्र अक्सर बताते थे कि वह मानसिक तनाव में जी रहे हैं और जीवन में संतुलन नहीं बना पा रहे।
घटना से 13 घंटे पहले महेंद्र ने एक वीडियो भी पोस्ट किया था, जिसमें उन्होंने कहा था कि लोग मरने के बाद भी रुतबे की बात करते हैं और वह हंसते हुए मरेंगे, क्योंकि जीते जी बहुत रो चुके हैं। यह वीडियो अब इस पूरे मामले की गंभीरता को और उजागर कर रहा है।
पुलिस अधिकारियों ने कहा है कि मामले की गहन जांच की जाएगी और परिवार के सभी सदस्यों के बयान लेकर तथ्य स्पष्ट किए जाएंगे। फिलहाल पुलिस आत्महत्या के कारणों को पारिवारिक तनाव से जुड़े हुए मान रही है।