Tue, 25 Nov 2025 14:50:57 - By : Palak Yadav
महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में बुधवार को छात्रों का विरोध प्रदर्शन एक बार फिर तेज हो गया जब बड़ी संख्या में विद्यार्थियों ने मुख्य गेट पर ताला लगाकर प्रशासन के खिलाफ जोरदार नारे लगाए। छात्रों ने लंबे समय से लंबित अपनी मूलभूत सुविधाओं से जुड़ी समस्याओं को लेकर कड़ा विरोध जताया और स्पष्ट किया कि वे अब केवल आश्वासन के भरोसे बैठने वाले नहीं हैं। विरोध कर रहे छात्रों का कहना है कि विश्वविद्यालय प्रशासन बार बार शिकायतों के बाद भी किसी मुद्दे पर ठोस कदम नहीं उठा रहा है। इसी नाराजगी के चलते उन्होंने परिसर के भीतर धरना दिया और सामूहिक रूप से अपनी मांगों का ज्ञापन वाइस चांसलर को सौंपा।
छात्र नेताओं ने खास तौर पर मेस संचालन के मुद्दे को पूरी गंभीरता से उठाया। उनका कहना है कि पिछले दो महीनों के भीतर विश्वविद्यालय में आयोजित दीक्षांत समारोह में राज्यपाल मौजूद थे और उन्होंने मंच से साफ शब्दों में कहा था कि छात्रों के हित में मेस संचालन जैसी आवश्यक सुविधाओं को उच्च प्राथमिकता दी जानी चाहिए। राज्यपाल ने यह भी कहा था कि जहां छात्र रहते हैं वहां उनके भोजन की उचित व्यवस्था होना बेहद जरूरी है क्योंकि संतुलित भोजन के बिना न तो पढ़ाई पर ध्यान केंद्रित किया जा सकता है और न ही शैक्षणिक गुणवत्ता को बेहतर बनाया जा सकता है। छात्रों का आरोप है कि इतने स्पष्ट निर्देशों के बावजूद विश्वविद्यालय प्रशासन ने अब तक मेस से संबंधित किसी भी कार्यवाही को आगे नहीं बढ़ाया है।
धरने पर बैठे छात्र नेताओं का कहना है कि किसी भी छात्र के वाइस चांसलर से मिलने पर केवल सांत्वना देकर वापस भेज दिया जाता है और कई बार लिखित शिकायतें देने के बाद भी कोई ठोस प्रगति दिखाई नहीं देती। छात्रों को लगता है कि शिकायतों को गंभीरता से नहीं लिया जा रहा है और हर बार केवल आश्वासन देकर मामला टाल दिया जाता है। उनका कहना है कि कई महीनों की प्रतीक्षा और लगातार ध्यान दिलाने के बाद भी जब कोई बदलाव नहीं हुआ तो विरोध प्रदर्शन ही आखिरी रास्ता बचा।
प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने यह भी कहा कि मेस संचालन का मुद्दा केवल सुविधा का नहीं बल्कि स्वास्थ्य और सुरक्षा का मामला है। हॉस्टल में रहने वाले कई छात्र बाहरी भोजन पर निर्भर हो गए हैं जिससे उन्हें स्वास्थ्य संबंधी दिक्कतें हो सकती हैं। छात्रों का कहना है कि यदि मूलभूत सुविधाएं ही उपलब्ध नहीं होंगी तो शैक्षणिक माहौल प्रभावित होना तय है। उन्होंने प्रशासन से जल्द से जल्द कार्रवाई कर मेस को चालू कराने और अन्य लंबित समस्याओं का समाधान कराने की मांग की है। ज्ञापन सौंपने के बाद विद्यार्थी परिसर में डटे रहे और स्पष्ट किया कि आवश्यक कदम उठाए जाने तक विरोध जारी रहेगा।